अगर आप प्रतियोगिता परीक्षा की तैयारी कर रहे हो तो आप लोगों को जरूर पढ़ने चाहिए यह Top 50 Rajasthan Ke Praakrtik Vanaspati aur Sansaadhan Ke Questions and Answers 2022 जिसमें आप लोगों की परीक्षा को सफल बनाने की जड़ी बूटी मिलाई गयी है। मेरे कहने का मतलब यह है कि यहां पर जो राजस्थान के प्राकृतिक वनस्पति एवं वन संसाधन के प्रश्न उत्तर दिए गए है उनको याद करके आप अपनी प्रतियोगिता परीक्षा को आसानी से पास कर सकते हो। तो देर किस बात की है निचे दिए गए Top 50 Rajasthan Ke Praakrtik Vanaspati aur Sansaadhan Ke Questions and Answers को अच्छे से याद कर लो।
Contents
1. शुष्क वन संस्थान (आफरी) कहां स्थित है?
- नागौर
- बीकानेर
- जैसलमेर
- जोधपुर
व्याख्या (4)- आफरी ‘एरिड जोन रिसर्च इंस्टीट्यूट’ (AFRI) की स्थापना भारत सरकार द्वारा 1985 ई. में जोधपुर में की गई थी। इस संस्था का कार्य मरुस्थलीय क्षेत्र में वन विकास करना है।
2. निम्नलिखित में से कौनसा ‘राजस्थान वानिकी एवं जैव विविधता परियोजना’ का उद्देश्य है?
- वृक्षारोपण
- जैव-विविधता संरक्षण
- बाढ नियंत्रण
- जल मंग्या
व्याख्या (2)- राजस्थान वानिकी एवं जैविविधता परियोजना का मुख्य उद्देश्य वन तथा वनों पर निर्भर लोगों के लिए रोजगार के अवसर बढ़ाना और जैवविविधता संरक्षण करना है। राज्य वानिकी एवं जैव विविधता संरक्षण सोसायटी का गठन मार्च, 2011 में हुआ था।
3. नेशनल बाँस मिशन के अंतर्गत कौनसा जिला शामिल नहीं है?
- करौली
- भीलवाड़ा
- जालोर
- बाँसवाड़ा
व्याख्या (3)- राष्ट्रीय बाँस मिशन योजना भारत सरकार द्वारा शत प्रतिशत वित्तीय सहायता पर आधारित कार्यक्रम है। यह योजना उद्यान विभाग द्वारा संचालित की जा रही है। राज्य के 8 वन विकास अभिकरणों द्वारा सार्वजनिक क्षेत्र की पौधशाला, किसान पौधशाला द्वारा प्रशिक्षण एवं बाँस विस्तार किया जा रहा है। इसमें जालोर जिला शामिल नहीं है।
4. राजस्थान में सर्वाधिक प्रचलित राज्यस्तरीय वानिकी पुरस्कार कौनसा है?
- वानिकी पुरस्कार
- वानिकी पंडित पुरस्कार
- अमृता देवी स्मृति पुरस्कार
- वृक्षमित्र पुरस्कार
व्याख्या (3)- राज्य में वानिकी क्षेत्र सर्वाधिक प्रतिष्ठापूर्ण राज्य स्तरीय पुरस्कार अमृता देवी विश्नोई स्मृति पुरस्कार है। यह पुरस्कार 1994 में | प्रारम्भ किया गया था। यह पुरस्कार राज्य सरकार द्वारा वन संरक्षण क्षेत्र में दिया जाता है।
5. राजस्थान में वन मंडलों की संख्या है?
- आठ
- दस
- बारह
- चौदह
व्याख्या (4)- राजस्थान वर्तमान में 12 वन मण्डलों में विभक्त किया गया है। प्रत्येक वन मण्डल द्वारा अपने-अपने क्षेत्र के वनों का रखरखाव, नए पौधों का रोपण, अवैध कटाई आदि पर निगरानी एवं नियंत्रण रखा जाता है।
6. एक भौगोलिक प्रदेश जहाँ तापमान अधिक, वर्षा कम, मिट्टी शिथिल तथा बलुई एवं जलस्तर नीचा हो तो यह तर्कसंगत नहीं है कि वहाँ पाया जाए/पाई जाए?
- मरुद्भिद् वनस्पति
- घास के मैदान
- झाड़ियों का जंगल
- उष्ण कटिबंधीय सदाबहार वन
व्याख्या (4)- उष्ण कटिबंधीय सदाबहार वन मुख्य रूप से जोधपुर, बीकानेर, बाड़मेर, पाली, सीकर अजमेर, जयपुर, दौसा एवं झुंझुनूं आदि | जिलों में मैदानी भागों में तथा शुष्क क्षेत्र में पाए जाने पर ये वन 1854 वर्ग किमी. में पाए जाते हैं।
7. अरावली विकास परियोजना का महत्वपूर्ण आधार है?
- थार मरुस्थल का प्रसार
- वनों की कटाई रोकना
- भूमि के कटाव को नियंत्रित करना
- पारिस्थितिकीय स्थिरता को पुनः स्थापित करना
व्याख्या (2)- अरावली विकास कार्यक्रम के तहत देश की5वीं पंचवर्षीय योजना में पहाड़ी क्षेत्र के विकास की एक योजना केन्द्रीय क्षेत्र के अन्दर शुरू की गई थी, जिसका मुख्य उद्देश्य पहाड़ी क्षेत्रों में पर्यावरण विकास संरक्षण एवं स्थापना करना था और वनों की कटाई रोकना था।
8. वनों के क्षेत्र (लीगल स्टेट्स) के अनुसार राजस्थान के जिलों का अवरोही क्रम है?
- 1) करौली, उदयपुर, बाराँ, चित्तौड़गढ़
- उदयपुर, करौली, चित्तौड़गढ़
- उदयपुर, चित्तौड़गढ़, बाराँ, करौली
- चित्तौड़गढ़, उदयपुर, करौली, बाराँ
व्याख्या (3)- सम्पूर्ण राजस्थान में वन क्षेत्र के हिसाब से अवरोही क्रम में |उदयपुर, चित्तौड़, बारां, करौली जिले आते हैं।
9. राजस्थान के पश्चिमी मरुस्थलीय भाग में वन किस रूप में पाए जाते हैं?
- मिश्रित पतझड़ वन
- उष्ण कटिबंधीय सदाहरित वन
- शुष्क सागवान वनों के रूप में
- काँटेदार पेड़ व झाड़ियों के रूप में
व्याख्या (4)- राज्य के पश्चिमी मरुस्थलीय भाग में कांटेदार वन मख्य | रूप से जोधपुर, बीकानेर, बाड़मेर, पाली, सीकर अजमेर, जयपुर, दौसा एवं झंझुनूं आदि जिलों के मैदानी भागों में तथा ऊबड़-खाबड़ जमीन पर पाए जाते हैं। इस प्रकार के वनों में मुख्य रूप से खेजड़ा, रोहिड़ा, बबल एवं कैर आदि वृक्ष शामिल हैं।
10. राजस्थान में उष्ण कटिबंधीय शुष्क वन किस क्षेत्र में मख्य रूप से पाए जाते हैं?
- दक्षिणी अरावली का भू-भाग
- दक्षिणी पूर्वी अरावली क्षेत्र
- उपर्युक्त दोनों
- इनमें से कोई नहीं
व्याख्या (3)- शुष्क पतझड़ वन उष्ण कटिबंधीय वन हैं, जो अरावली श्रेणी के उदयपुर, बांसवाड़ा क्षेत्र में पाए जाते हैं। यहां वर्षा 50 से 100 सेमी होती है। यहां के वृक्षों में धोकड़ा, तेंद, बबल, बरगद, गूलर, खैर एवं नीम आदि हैं, वहीं ऊँची पहाड़ियों पर पाए जाने वाले वृक्षों में बाँस, आँवला, करोन्दा मुख्य हैं।
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